जय माँ अम्बे
भव बाधा तारिणी
नमो नमस्ते
सौम्य सरल
दमके मुख मैया
पीती गरल
मोक्ष दायिनी
खल दल मर्दिनी
भक्त वत्सला
लाल चुनड़
गले में मुंडमाल
माँ का श्रृंगार
शारदोत्सव
सिउली ,कास करे
मातृ वंदन
पूजा के फूल
मंदिरों में भी भक्त
देते कुचल
जग जननी
भटक रहा जग
भर ले अंक
मुक्तिदायिनी
साधना भक्ति तप
दुर्गम पथ
चंचल चित्त
साधू जितना इसे
बहके नित
साध्य साधता
साधक तन मेरा मन बाधक
नवरात्रि की हार्दिक शुभकामनाएँ|
जवाब देंहटाएंआपको नवरात्री की शुभकामनाये @अजय यादव जी :)
हटाएंबहुत सुन्दर प्रस्तुति...!
जवाब देंहटाएंआपको सूचित करते हुए हर्ष हो रहा है कि आपकी इस प्रविष्टि् की चर्चा आज रविवार (06-10-2013) हे दुर्गा माता: चर्चा मंच-1390 में "मयंक का कोना" पर भी है!
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शारदेय नवरात्रों की हार्दिक शुभकामनाओं के साथ।
सादर...!
डॉ.रूपचन्द्र शास्त्री 'मयंक'
स्नेहाशीष है आपका .. नमन :)
हटाएंमैया रानी अपनी कृपा बनाये रखे । सुंदर प्रस्तुति
जवाब देंहटाएंनवरात्री की हार्दिक शुभकामनाये @गजेन्द्र जी :)
हटाएंमाँ को नमन
जवाब देंहटाएंनवरात्री की हार्दिक शुभकामनाये आपको भी :)
हटाएंमंगलवार 08/10/2013 को आपकी पोस्ट का लिंक होगा http://nayi-purani-halchal.blogspot.in पर
जवाब देंहटाएंआप भी एक नज़र देखें
धन्यवाद .... आभार ....
हार्दिक आभार @विभा दी .. जरुर उपस्थित होउंगी :) नवरात्री की मंगल कमनये
हटाएंअति सुंदर हाइकू
जवाब देंहटाएंहार्दिक आभार मोनिका जी :)
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